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नवसारी में प्रशासन ने मंदिर पर बुलडोजर क्यों चलाया? जाने पूरा सच…

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आम आदमी पार्टी ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट किया जिसमें यह बताया गया कि BJP ने भगवान श्री राधा कृष्ण के मंदिर को तोड़ दिया। साथ ही उन्होंने यह भी प्रश्न भी किया कि अगर हिंदू अपना मंदिर हिंदुस्तान में नहीं बनाएंगे तो क्या पाकिस्तान में बनाएंगे? AAP ने कुछ फोटोज और विडियोज शेयर करते हुए लिखा कि गुजरात के नवसारी में BJP द्वारा भगवान श्री राधा कृष्ण का मंदिर तोड़ा गया।

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आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने भी यह ट्वीट कर लिखा कि नवसारी में भाजपा सरकार ने लाखों लोगों की श्रद्धा के प्रतीक भगवान श्री राधा कृष्ण के मंदिर को बुलडोजर से ध्वस्त कर डाला।

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क्योंकि मामला लोगों की धार्मिक आस्था से जुड़ा हुआ था इसलिए मामले ने बहुत जल्दी तूल पकड़ लिया। शेयर किए गए फोटोज और वीडियोज विचलित करने वाले थे इसलिए हमने इस मामले की तह तक जाने का विचार किया। तथ्यों को आधार बनाकर हमनें पड़ताल शुरू की, जिससे हमे कुछ ऐसी जानकारियां प्राप्त हुई जिनका AAP जिक्र नहीं किया गया है।

Fact Check

फैक्ट चैक से पहले जान लेते है कि आखिर पूरा मामला है क्या –

मामला गुजरात के नवसारी जिले जहां में नवसारी अर्बन डेवलपमेंट एसोसिएशन (NUDA) द्वारा अवैध निर्माण को लेकर की गई एक कार्यवाही को लेकर है। NUDA के अधिकारिक ऑर्डर के मुताबिक़ जिले में यह मन्दिर आवासीय जमीन पर अवैध निर्माण था। वर्ष 1998 में सर्वोदय नगर सोसाइटी के कुछ सदस्य चंपक भाई मगनभाई पटेल, पार्वती बेन मगनभाई पटेल, हंसा बेन मगनभाई पटेल, और कुसुमबेन मगनभाई पटेल थे। वर्तमान में पक्षकार विपुल भाई शाह, जनकभाई पटेल है। NUDA ने कि अनुसार धार्मिक उद्देश्य के लिए एक मंदिर आवासीय उद्देश्य की जगह पर बनाया गया था, जो आवश्यक अनुमति प्राप्त किए बिना अनधिकृत है। NUDA के ऑर्डर के मुताबिक़ धार्मिक उद्देश्य के लिए निर्माण करने हेतु सर्वोदय नगर सोसाइटी अनुमति जरूरी थी लेकिन इसमें यह अनुमति नही ली गई थीं इसीलिए निर्माण अवैध की श्रेणी में आता है। वर्ष 1998 में इस दोनों पक्षों के बीच हुए करार के अनुसार यह जगह सभी के लिए केवल रास्ते के रूप में उपयोग की जानी चाहिएं थीं, लेकिन दूसरे पक्ष ने करार की शर्तो को तोड़कर यह मंदिर निर्माण कर दिया था।

इस मामले में सुनवाई हुई और ऑर्डर आया। जिनके आधिकारिक दस्तावेज क्रमशः है।

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चूंकि यह निर्माण अवैध था तथा करार का उल्लंघन था इसलिए इस पर प्रशासन ने कार्यवाही की। पुलिस व प्रशासन ने सबसे पहले भगवान जी की मूर्तियों को सह – सम्मान किसी की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाए बिना विवादित स्थान से विस्थापित किया। नवसारी लाइव न्यूज चैनल ने इसे ब्रॉडकास्ट किया था।

कुछ अज्ञात स्त्रोतों से भी इसके विडियोज मिले है।

सूत्र – अज्ञात

सुनवाई के महत्वपूर्ण तथ्य

मामले में पक्षकार समूह अनुसार इस जगह पर किसी भी तरह का निर्माण अवैध है। यह जमीन लोगों, वाहनों आदि के आने जाने के लिए है।

इस मामले की सुनवाई में यह कहा गया कि जमीन का उपयोग किसी भी तरह के निर्माण के लिए नहीं किया जा सकता।

साथ ही नगरपालिका अथवा किसी भी महानगर पालिका द्वारा भी इस पर कोई निर्माण नहीं किया जाएगा।

हमारी पड़ताल में हमनें पाया कि प्रशासन द्वारा की गई कार्यवाही वैध थी। साथ ही प्रशासन ने उचित निर्णय लेकर पहले ही भगवान की मूर्तियों को वहा से सही सलामत विस्थापित कर दिया था।

इसलिए AAP का यह कहना कि BJP ने मन्दिर तोड़ा है पूरी तरह बेतुकी बात है। प्रशासन ने कानूनन यह कार्यवाही की है जिसमें पक्षकारो की सहमति सम्मिलित है।

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जय हिन्द !

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