देश में लोकसभा चुनाव 2024 के बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल है। इस वीडियो ने एक शख्स ठाकुर समाज के लोगों के खिलाफ अमर्यादित बयान दे रहा है। सोशल मीडिया में इंडी गठबंधन के नेता और समर्थक इस वीडियो को भारतीय जनता पार्टी के सहयोगी ओमप्रकाश राजभर की पार्टी से जोड़कर वायरल कर रहे हैं हालांकि पड़ताल में पता चलता है कि यह करीबन 4 साल पुराना है। साथ ही आरोपी नेता के खिलाफ पुलिस ने एक्शन भी लिया था।
नेहा सिंह राठौर ने एक्स पर वीडियो पोस्ट करते हुए लिखा, ‘भाजपा ने राजपूतों के सम्मान की सुपारी ले रखी है क्या? भाजपा के सहयोगी ओमप्रकाश राजभर की पार्टी का नेता एक करोड़ रुपये देकर रात भर के लिये राजपूतों से उनकी बहन-बेटी माँग रहा है. राजपूत समाज को अब और कितना अपमानित किया जाएगा? ऐसे बचाई जाती है बेटी? आक थू!’
आरजेडी समर्थक आलोक ने लिखा, ‘ठाकुर ( राजपूत) अपनी बहन बेटी को मेरे पास सु** दो एक रा** का एक करोड़ दूँगा” बीजेपी अपने सहयोगी ओमप्रकाश राजभर के पार्टी नेताओं से जिस तरह का बयान ठाकुर समाज पर दिला रहे हैं वह बेहद घटिया है। मुझे नहीं लगता है कि इतना घटिया बात सुनने के बाद ठाकुर समाज किसी भी सूरत में बीजेपी को वोट देंगे।’
आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह ने लिखा, ‘मोदी के मंत्री रुपाला के बाद मोदी के सहयोगी दल राजभर की पार्टी के नेता राजपूत समाज को माँ बहन की गाली दे रहा है राजपूत समाज की बहू बेटियों के लिए कितनी घृणित बात कर रहा है। मोदी जी आप कब तक ख़ामोश रहेंगे? क्या इस शख़्स पर कोई कार्यवाही होगी?’
आशुतोष सेंगर ने लिखा, ‘ठाकुर समाज की बहन बेटियों पर अभद्र टिप्पणी कर रहा ये व्यक्ति भाजपा के सहयोगी दल सुभासपा का नेता है। घोसी लोकसभा से सुभासपा का प्रत्याशी अरविंद राजभर चुनाव लड़ रहा है। ठाकुर भाईयों हिसाब कर लो 1 जून को।’
वहीं कांग्रेस नेता सुरेन्द्र राजपूत, सपा नेता आईपी सिंह, छत्रिय मीडिया, सीमाब अख्तर, अतुल लोंढे पाटिल, प्रशांत कनौजिया व विश्वविजय सिंह समेत कई लोगों ने इसी दावे के साथ वीडियो शेयर किया है।
पड़ताल में हमे वायरल वीडियो ईटीवी भारत की एक रिपोर्ट में मिला। 5 अक्टूबर 2020 को प्रकाशित इस रिपोर्ट के मुताबिक उत्तर प्रदेश के मऊ जिले में कोपागंज थाना क्षेत्र के भांवरकोल गांव निवासी कमल भारती खुद को सुभासपा का नेता बताते हुए विवादित बयान दिया था। कमल भारती ने हाथरस में हुए गैंगरेप मामले में वह बयानबाजी करते हुए सवर्ण समाज पर अभद्र टिप्पणी की। इसके साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और डीएम व एसपी के लिए अपशब्दों का भी प्रयोग किया। वहीं सुभासपा के जिलाध्यक्ष रामजी राजभर ने पत्र जारी करते हुए कमल भारती को पार्टी का प्राथमिक सदस्य नहीं होने का दावा किया था।
इसके बाद हमे 7 अक्टूबर 2020 को ईटीवी पर प्रकाशित एक और रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के मुताबिक हाथरस कांड को लेकर सीएम योगी और क्षत्रिय समाज पर अभद्र टिप्पणी करने वाले सुभासपा नेता कमल भारती और दो साथियों को गिरफ्तार कर किया था। एसपी सुशील घुले ने बताया कि कमल भारती ने वीडियो सुनियोजित तरीके से बनाया था। साथ ही इन्होंने खुद ही वीडियो वायरल किया है। जिसका उद्देश्य समाज में जातीय भवना भड़काने का था।
इसके अलावा अमर उजाला की रिपोर्ट के मुताबिक आरोपियों से पूछताछ करने के बाद उन्हें कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने सुनवाई करने के बाद दोनों पक्षों की दलीलों और तर्को को सुनने के बाद तीनो आरोपियों को जेल भेजने का आदेश दिया। इस दौरान पता चला कि वह लिखा पढ़ी में किसी पार्टी का होना नहीं पाया गया।
पड़ताल में यह भी पता चलता है कि उस दौरान ओमप्रकाश राजभर की पार्टी का भाजपा से गठबंधन नहीं था। अमर उजाला, जी न्यूज और दैनिक जागरण की रिपोर्ट से पता चलता है कि राजभर साल 2020 में अपने बयानों में भाजपा पर हमलावर थे।
निष्कर्ष: पड़ताल से स्पष्ट है कि वायरल वीडियो करीबन 4 साल पुराना है, इस मामले में पुलिस ने एक्शन लिया था। साथ ही आरोपी शख्स किसी पार्टी का सदस्य नहीं था।
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