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मध्यप्रदेश के बालाघाट में तीन दिसम्बर से पहले शुरू हो गयी मतगणना? भ्रामक दावे के साथ वीडियो वायरल

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मध्यप्रदेश में प्रत्याशियों और पार्टियों की किस्मत का फैसला मत पेटियों में बंद हो चुका है। मध्यप्रदेश में 17 नवंबर को विधानसभा चुनाव हुए थे और तीन दिसंबर को मतों की गिनती होगी। इस बीच सोशल मीडिया में एक वीडियो वायरल हैं, इस वीडियो के साथ दावा है कि बालाघाट में 3 दिसबर यानी मतगणना से पूर्व ही मतपत्रों की पेटियां खोलकर गिनती शुरू कर दी गयी है। हालाँकि पड़ताल में पता चलता है कि यह दावा भ्रामक है।

सदफ आफरीन ने लिखा, ‘मध्यप्रदेश बालाघाट में मतगणना से पहले खोले गए पोस्टल बैलेट बॉक्स, वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल! मध्यप्रदेश में वोटों की गिनती 3 तारीख को होनी है, लेकिन अभी से पोस्टल बैलेट क्यों गिने जा रहे है?? कही यह सब कोई बड़ी साजिश तो नही?? कोई खास पार्टी को लाभ पहुंचाने की नियत से तो यह नही किया जा रहा है?? वीडियो वायरल होने के बाद कांग्रेस पार्टी ने बालाघाट के कलेक्टर गिरीश कुमार मिश्रा को निलंबित करने की मांग की है!’

मध्यप्रदेश कांग्रेस ने लिखा, ‘निर्वाचन को कलंकित करते बालाघाट कलेक्टर मध्यप्रदेश के बालाघाट जिले के कलेक्टर डॉ. गिरीश मिश्रा ने आज 27 नवंबर को ही स्ट्रांग रूम खुलवाकर बिना अभ्यर्थियों को सूचना दिए डाक मतपत्रों की पेटियां खोल दी है। अंतिम साँसें गिनती शिवराज सरकार और सरकार की अंधभक्ति में लीन कलेक्टर लोकतंत्र के लिये बड़ा ख़तरा हैं। कांग्रेस का एक एक कार्यकर्ता सतर्क और चौकन्ना रहे। बीजेपी की करारी हार से बौखलाई चोरी की ये सरकार और कुछ सरकारी दलाल वोट चुराने की फ़िराक़ मे हैं।’

सपा समर्थक शिवम यादव ने लिखा, ‘मतगणना 3 दिसंबर को होनी है उससे पूर्व ही बालाघाट के पॉलीटेक्निक कॉलेज में बिना अभ्यर्थियों को सूचना दिए डाक मतपत्रों की पेटियां खोल दी गई। हार के डर से बौखलाई शिवराज सरकार अपने नापाक मंसूबो में कितना भी जोर लगा ले फिर भी कामयाब नहीं होगे।’

आम आदमी पार्टी के विधायक रोहित कुमार ने लिखा, ‘लोकतंत्र की दुश्मन BJP ने मध्यप्रदेश में हार के डर से अब वोटों की चोरी करनी शुरू कर दी है और चुनाव आयोग गहरी नींद में सो रहा है। आखिर बालाघाट के कलेक्टर की ऐसी क्या मजबूरी थी कि मतगणना से पहले ही उन्हें डाक मत पत्रों की पेटियां खुलवानी पड़ी? किसके आदेश पर हुआ ये? मध्यप्रदेश और सभी चुनावी राज्यों के लोगों को खुद अपने जनादेश की रक्षा इन लोकतंत्र के लुटेरों से करनी होगी।’

कांग्रेस समर्थक अपूर्व ने लिखा, ‘मप्र में मतगणना 3 दिसंबर को होनी है उससे पूर्व बालाघाट के पॉलीटेक्निक कॉलेज में बिना अभ्यर्थियों को सूचना दिए डाक मतपत्रों की पेटियां खुल गई है’

आईएनसी टीवी ने लिखा, ‘चुनावी धांधली.. मप्र में मतगणना 3 दिसंबर को है लेकिन उससे पहले ही डाक मतपत्रों की पेटियां खोल दी गई। बालाघाट के कलेक्टर गिरीश कुमार पर पोस्टल वोट निकाल कर हेराफेरी का आरोप।’

कांग्रेस नेता लालजी देसाई ने लिखा, ‘मध्यप्रदेश में मतगणना 3 दिसंबर को होनी है उससे पूर्व ही बालाघाट के पॉलीटेक्निक कॉलेज में बिना अभ्यर्थियों को सूचना दिए डाक मतपत्रों की पेटियां खोल दी गई हैं। क्या @ECISVEEP इस बात का संज्ञान लेगी? क्या चुनाव आयोग से किसी प्रकार की कार्यवाही की अपेक्षा की जा सकती है?’

फैक्ट चेक

पड़ताल में हमने सम्बंधित कीवर्ड्स को गूगल पर सर्च किया तो नई दुनिया की बेवसाईट पर प्रकाशित एक रिपोर्ट मिली। मध्यप्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अनुपम राजन ने बताया कि निर्वाचन की प्रक्रिया अनुसार प्रतिदिन अन्य जिलों से आने वाले डाक मत पत्रों की प्राप्ति के बाद दोपहर तीन बजे स्ट्रांग रूम खोलकर विधानसभा क्षेत्रवार छंटनी की जाती है। इसके पश्चात बंडल बनाकर व्यवस्थित रूप से आयोग के निर्देशानुसार कर संपादित किया जाता है। यह राजनीतिक दल के प्रतिनिधियों के संज्ञान में लाकर किया गया है।

उन्होंने कहा कि प्रथम दृष्टया इसमें किसी गड़बड़ी की आशंका नहीं है, केवल प्रक्रियात्मक त्रुटि पाई गई है। डाक मत पत्रों को विधानसभा क्षेत्रवार अलग-अलग करने के संबंध में भाजपा और कांग्रेस के प्रत्याशियों को सूचना दी गई थी। जब यह काम चल रहा था तब कांग्रेस के निराला सिंह बघेल और विनय दसेरिया वहां उपस्थित रहे लेकिन भ्रम यह फैल गया कि मत पत्रों की गिनती की जा रही है। मध्यप्रदेश के बालाघाट जिले में आने वाली बैहर विधानसभा सीट के लिए 429, लांजी में 553, परसवाड़ा में 452, बालाघाट में 1,308, वारासिवनी में 391 और कटंगी विधानसभा सीट के 126 डाक मत पत्र निकले। जिन्हें अलग-अलग झोले में रखकर फिर सीलबंद कर दिया गया। मतों को खोला नहीं गया है और न ही गिनती की गई है।

इसके बाद हमे बालाघाट कलेक्टर व जिला निर्वाचन अधिकारी ड़ॉ. गिरीश कुमार मिश्रा का वीडियो मिला। उन्होंने बताया कि पोस्टर बैलेट का स्ट्रोंग रूम भाजपा और कांग्रेस के प्रत्याशी को सूचना देने के बाद खोला गया था। इसमें किसी भी प्रकार की बैलेट की गिनती नहीं की गयी है। स्ट्रोंग रूम खोले जाने से लेकर बंद किए जाने तक कांग्रेस और बीजेपी के लोग मौजूद थे।

हमे आज तक की बेवसाईट पर प्रकाशित एक रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के मुताबिक कांग्रेस ने अपने पत्र में स्ट्रांग रूम से डाक मतपत्र बाहर ले जाने और फर्जीवाड़ा करने का आरोप लगाया था जिससे अब पार्टी पीछे हट गई है। एक वीडियो जारी कर कांग्रेस शहर इकाई के अध्यक्ष शफकत खान ने कहा है कि एक कंफ्यूजन के कारण यह मुद्दा बन गया था लेकिन अब उनकी पार्टी चुनाव अधिकारियों से स्पष्टीकरण मिलने के बाद संतुष्ट है।

इसके बाद हमे इस सम्बन्ध में NDTV की बेवसाईट पर एक विस्तृत रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट में बताया गया है कि कुछ मतदाता जो मतदान केन्द्र (polling stations) पर जाकर वोट नहीं कर सकते वैसे लोगों के लिए चुनाव आयोग ने पोस्टल बैलेट का इंतजाम किया है ताकि वे भी अपने मताधिकार का इस्तेमाल कर सकें। ये सुविधा मतदान ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों, सेना में तैनात जवानों, दिव्यांग और बुजुर्गों को दी जाती है। इस प्रक्रिया में मतदान होने के बाद पोस्टल बैलेट चुनाव आयोग के सक्षम अधिकारी को डाक के जरिये ही वापस भेजा जाता है।

बालाघाट

रिपोर्ट के मुताबिक बालाघाट ज़िले में मतदानकर्मियों की सेंट्रल ट्रेंनिंग हुई, जहां जिला मुख्यालय पर बालाघाट, लांजी, बैहर, परसवाड़ा, वारासिवनी और कटंगी जैसे 6 विधानसभा के डाक मतपत्र थे। इन लोगों ने जो मतदान किया उसे बालाघाट के स्ट्रांग रूम में रखा गया। बालाघाट में वहां की विधानसभा के 1308, बैहर के 429, परसवाड़ा 452, वारासिवनी 391 और कटंगी के 126 पोस्टल बैलेट आए थे। जिन्हें 50-50 के बंडल में 2 दिसंबर से पहले उनके मतगणना केन्द्र तक पहुंचाना था जिसकी सूचना सारे उम्मीदवारों को लिखित में भेजी गई थी। सब कुछ सीसीटीवी की निगरानी में था और राजनीतिक दलों के कार्यकर्ता भी वहां मौजूद थे। उनकी ही मौजूदगी में पंचनामा भी बनाया गया था। हालाँकि इस मामले में नोडल अफसर को निलंबित किया गया है क्योकि छंटनी की सूचना 3 बजे की थी लेकिन नोडल अधिकारी ने 2 बजे के आसपास ही छंटनी का काम शुरू कर दिया।

निष्कर्ष: पड़ताल से स्पष्ट है कि मध्यप्रदेश के बालाघाट में 3 दिसबर से पूर्व मतगणना का दावा गलत है। बालाघाट के स्ट्रोंग रूम में कांग्रेस और बीजेपी के लोगों की मौजूदगी में डाकमतों की छटनी का काम किया गया था।

दावामध्यप्रदेश के बालाघाट में 3 दिसबर से पूर्व भी मतगणना शुरू की गयी
दावेदारसदफ आफरीन, एमपी कांग्रेस, शिवम यादव, रोहित कुमार समेत अन्य
फैक्टमध्यप्रदेश के बालाघाट में स्ट्रोंग रूम में कांग्रेस और बीजेपी के लोगों की मौजूदगी में डाकमतों की छटनी का काम किया गया था।
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