सोशल मीडिया पर महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव परिणाम को लेकर विपक्ष द्वारा लगातार सवाल उठाए जा रहे हैं। अब यह दावा किया जा रहा है कि शाम 5 बजे 58.22 प्रतिशत मतदान हुआ था, चुनाव आयोग ने साढ़े 11 बजे इसे बढाकर 65.02 प्रतिशत कर दिया। इसके बाद मतगणना से पूर्व इसे बढाकर 66.05 प्रतिशत कर दिया गया। इन दावों के आधार पर चुनाव आयोग पर चुनाव में धांधली का आरोप लगाया जा रहा है। हालांकि हमारी जांच में यह दावा भ्रामक पाया गया है।
दीप अग्रवाल ने लिखा, ‘डॉ.प्यारे लाल गर्ग जी का महाराष्ट्र चुनाव पर एक और सनसनीखेज खुलासा। #MaharashtraElection2024 में 92 सीटों पर EVM में पड़े वोट से ज्यादा गिने गए है। इसमें से 82 सीटों पर भाजपा NDA को जीत मिली।चुनाव आयोग की वेबसाइट से लिए डेटा पर गौर करें: 20/11/24 शाम 5:00 बजे। वोट प्रतिशत: 58.22। रात्रि 11:30 बजे (उसी दिन) वोट प्रतिशत: 65.02। गिनती से पहले अंतिम आंकड़ा: 66.05%।मतलब चुना आयोग ने 6.80% + 1.03% = 7.83% यानि कि औसतन 26,500 प्रति सीट वोट बढ़ा दिये। अब तो पानी सिर से उपर जा रहा हैं, #राहुल_गाँधी जी को EVM पर यात्रा करने के साथ चुना आयोग #राजीव_कुमार को हटाने के लिए संसद में प्रस्ताव भी रखना चाहिए।‘
दिनेश चौहान ने लिखा, ‘’76 लाख फर्जी वोट, तीन बार हुई धांधली तो महाराष्ट्र में ऐसी हैक हुई EVM मशीन!‘
कृष्णा कांत ने लिखा, ‘महाराष्ट्र में वोटिंग के दिन शाम को 5 बजे कहा गया कि राज्य में कुल 58.22% मतदान हुआ। रात 11.30 बजे आंकड़ा 6.80% बढ़ाकर 65.02% कर दिया। फिर मतगणना से 12 घंटे पहले नया आंकड़ा आ गया कि कुल 66.05% वोट पड़े। यानी दो बार में कुल 7.83% वोट प्रतिशत बढ़ गया। ये आंकड़े डॉ प्यारेलाल गर्ग ने सत्यहिंदी पर दिए हैं। अब सवाल है कि जिस दिन ईवीएम बंद हुई, उसके दो दिन बाद, मतगणना से 12 घंटे से पहले वाले वोट कहां से आए? जो मशीन अप्रश्नेय है, जिस पर कोई सवाल नहीं हो सकता, वह कुल वोट का प्रतिशत दो दिन, चार दिन बाद क्यों बताती है? वह संख्या क्यों नहीं बताती, सिर्फ प्रतिशत क्यों बताती है? ईवीएम बंद होने के बाद ये वोट कहां से आते हैं? महाराष्ट्र की 95 सीटों का आंकड़ा मैच क्यों नहीं कर रहा है? विपक्ष ये सवाल उठाने के लिए किस मुहूर्त का इंतजार कर रहा है?‘
अवेश तिवारी ने लिखा, ‘महाराष्ट्र चुनाव में जब शाम पांच बजे वोटिंग खत्म हुई वोट प्रतिशत 58.22 फीसदी था जो रात को 11 बजे 65.02 फीसदी हो गया। बात यहीं खत्म नहीं हुई मतगणना के ठीक पहले यह प्रतिशत 66.50 फीसदी हो गया। अगर संख्या के हिसाब से देखा जाए तो मतदान खत्म होने के दिन 20 नवंबर को शाम 5 बजे तक कुल वोट 5 करोड़ 64 लाख 88 हजार 22 वोट पड़े थे। रात 11 बजे यह आंकड़ा 6 करोड़ 30 लाख 85 हजार 732 हो गया। बात यहीं नहीं रुकी। मतगणना वाले दिन से ठीक पहले कुल मतों की संख्या 9 लाख 99 हजार 359 और बढ़ गई। मतलब यह कि मतदान खत्म होने के बाद से लेकर मतगणना तक 75 लाख 97 हजार 67 वोट बढ़ गए। यह लगभग 76 लाख वोट कहां से आए?’
इसके अलावा इस दावे को साबिर हुसैन, तन्मय, प्रियामवादा, और संदीप खासा ने किया।
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दावे की पड़ताल में चुनाव आयोग की वेबसाईट पर मतदान प्रतिशत के सम्बन्ध में प्रेस रिलीज मिली। चुनाव आयोग ने इस प्रेस रिलीज को 20 नवम्बर की रात साढ़े 11 बजे जारी किया था। इसके मुताबिक महाराष्ट्र में कुल 65.02 मतदान हुआ था।
इसके बाद हमें मुख्य निर्वाचन अधिकारी का एक ट्वीट मिला। इस ट्वीट में मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने लिखा, ‘2024 महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में, 5 बजे तक मतदान प्रतिशत लगभग 58.22% था और अंतिम मतदान प्रतिशत 66.05% रहा। यह सामान्य है क्योंकि मतदान 6 बजे के बाद भी जारी रहता है, जब तक कतार में खड़ा आखिरी व्यक्ति वोट नहीं देता।
2019 में भी 5 बजे तक मतदान प्रतिशत लगभग 54.43% था और अंतिम मतदान प्रतिशत 61.10% था। महाराष्ट्र में, विशेषकर शहरी और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में, जहां बड़ी संख्या में मतदाता शाम को मतदान करने आते हैं, यह प्रवृत्ति सामान्य है। यह महत्वपूर्ण है कि मतदान के दिन 5 बजे तक की मतदान प्रतिशत जानकारी केवल मौखिक टेलीफोनिक संवाद पर आधारित होती है। इसके विपरीत फॉर्म 17C, जो मतदान समाप्ति के समय मतदान एजेंटों को दिया जाता है, वह अंतिम प्रतिशत और गिने गए मतों से मेल खाता है। फॉर्म 17C की जानकारी उम्मीदवार के गिनती एजेंटों द्वारा गिनती के दौरान सत्यापित की जाती है।
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद, कांग्रेस ने शाम 5 बजे के बाद वोट प्रतिशत बढ़ने को लेकर चुनाव आयोग को पत्र लिखा। इसके जवाब में चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया, “शाम 5 बजे और मतदान समाप्ति के बाद के आंकड़ों में अंतर के संबंध में आयोग पहले भी सार्वजनिक रूप से जानकारी दे चुका है।”
आयोग ने बताया कि मतदान केंद्र पर वोटिंग खत्म होने के बाद, प्रीसाइडिंग ऑफिसर द्वारा कुल डाले गए वोटों की संख्या (फॉर्म 17सी, भाग-1) उम्मीदवारों के एजेंट्स को दी जाती है। यह संख्या निर्धारित और स्थिर होती है, जिसमें कोई बदलाव संभव नहीं है। यही आंकड़ा अंतिम मतदान प्रतिशत में जोड़ा जाता है, जिसे सभी राजनीतिक दल और उम्मीदवार सत्यापित कर सकते हैं। चुनाव के दौरान, मतदान खत्म होने के बाद प्रीसाइडिंग ऑफिसर को कई महत्वपूर्ण प्रक्रियाएँ पूरी करनी होती हैं, जैसे फॉर्म भरना, रिकॉर्ड रखना, और ईवीएम मशीनों को सील करना। इन प्रक्रियाओं के कारण “वोटर टर्नआउट ऐप” पर डेटा अपडेट करने में समय लगता है।आयोग ने यह भी बताया कि 2024 के आम चुनावों में अतिरिक्त पारदर्शिता के लिए रात 11:45 बजे प्रेस नोट जारी करने की प्रक्रिया शुरू की गई थी। साथ ही, वोटर टर्नआउट ऐप पर आंकड़ों का अपडेट निरंतर जारी रहता है।”
पड़ताल में हमने चुनाव आयोग के स्पष्टीकरण की सत्यता की जांच करने के लिए हाल ही में जम्मू-कश्मीर में हुए चुनावों के आंकड़े देखे। वेबसाइट के अनुसार शाम 5:19 बजे तक 63.88% मतदान दर्ज हुआ था और इसके बाद चुनाव आयोग ने अपनी वेबसाइट पर रात 11:45 बजे 69.65% मतदान की जानकारी दी। यानि यहाँ भी करीबन 5 प्रतिशत बढ़ गया था।
दावा | चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में धांधली की है क्योंकि 5 बजे मतदान प्रतिशत 58.22% था, जबकि अंत में यह 66.05% हो गया। |
दावेदार | सोशल मीडिया यूजर्स |
निष्कर्ष | यह दावा निराधार है। मतदान के समय में वृद्धि एक सामान्य प्रक्रिया है। |
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