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बीजेपी नेता पीयूष गोयल चुनाव आयोग दबाव बनाने पहुंचे? भ्रामक दावे के साथ वीडियो वायरल

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1 जून को लोकसभा चुनाव संपन्न हुए और 4 जून को नतीजे घोषित किए जाएंगे। इस बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें भारतीय जनता पार्टी के नेता और केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमण को चुनाव आयोग के हेड ऑफिस जाते हुए देखा जा सकता है। वीडियो को शेयर करते हुए दावा किया जा रहा है कि पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमण चुनाव आयोग पर दबाव बनाने गए थे।

कांग्रेस समर्थक प्रेम कुमार ने X पर वीडियो शेयर करते हुए लिखा, ‘पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमन ने अलग-अलग निर्वाचन आयोग पहुंचे। चुनाव आयोग से कोई मांग उन्होंने नहीं रखी है। निर्देश देने पहुंचे थे क्या दोनों मंत्री? क्या निर्देश चुनाव आयोग को पीयूष-सीतारमन ने दिए है? बैलेट पेपर की गिनती ईवीएम की गिनती से पहले कराने की विपक्ष की मांग नहीं मानने का दबाव बनाने तो नहीं पहुंचे? दाल में कुछ काला है!‘

ज़ाकिर अली त्यागी ने लिखा, ‘केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल व निर्मला सीतारमण चुनाव आयोग के दफ़्तर पहुंचें है, मतगणना में मात्र 2 दिन शेष है ऐसे में केंद्रीय मंत्री का @ECISVEEP के दफ़्तर में जाना साफ़ दर्शाता है कि मंत्री “मतगणना कैसे होनी चाहिए” बताने गये है और यह बात टेलीफोनिक वार्तालाप में नही कही जा सकती थी!‘

प्रोफेसर इलाहाबादी ने लिखा, ‘चुनाव के नतीजे आने में 36 घंटे का टाईम बचा हुआ है। और बीजेपी से पियूष गोयल चुनाव आयोग पहुंच गए। INDIA गठबंधन इस बात को सीरियसली नही ले रहा है। यही सब हार का कारण बनेगी। मैं तो कहता हूं विपक्ष को कोर्ट जाना चाहीए।ये निष्पक्षता नही है।‘

Source-X

कविश अज़ीज़ ने लिखा, ‘यह इलेक्शन कमीशन का ऑफिस है।काउंटिंग से 48 घंटे पहले केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल यहां गए थे। बाकी आप लोग समझदार हैं‘

कैप्टन सूर्यासेन यादव ने लिखा, ‘कार से निकल कर फोन पर बात करते हुए BJP नेता और केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल जो कल सुबह इलेक्शन कमीश्नर के ऑफिस में दाखिल हो रहे हैं, वो भी काउंटिंग से 48 घंटे पहले, क्या करने गए होंगे ये कल ECI ऑफिस? समझ तो गए होंगे आप, इस तानाशाही के इरादों का ज़िम्मेदार कौन?‘

फिल्म क्रिटिक कमाल आर खान ने लिखा, ‘बीजेपी ने 400 सीटें जीती हैं, तो फिर पीयूष गोयल चुनाव आयोग के अधिकारियों से मिलने क्यों गए? असल में क्या हो रहा है?‘

संदीप चौधरी पैरोडी ने लिखा, ‘बीजेपी नेता पीयूष गोयल चुनाव आयोग के ऑफिस पहुंचे है। सारी मिडिया बहुमत दे रही 350 से 400 सीट बता रही तो चुनाव आयोग के पास क्यों गए हैं ? ये सब क्या चल रहा है निर्वाचन आयोग, कृपया स्पष्ट करें !‘

कांग्रेस नेता विनीता जैन ने लिखा, ‘केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल के बाद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण भी चुनाव आयोग के कार्यालय पहुंचीं। ऐसा लगता है कि हार का डर बहुत परेशान कर रहा है।‘

लुटियंस मीडिया ने लिखा, ‘केंद्रीय पीयूष गोयल चुनाव आयोग के ऑफिस पहुंचे है। सवाल ये है कि जब 400 जीत रहें हैं तो चुनाव आयोग के पास क्यों गए हैं ?‘

कांग्रेस नेता साक्षी ने लिखा, ‘आखिर क्यों ? क्या कोई कसर बाकी रह गयी है‘

दिव्या कुमारी ने लिखा, ‘काउंटिंग से महज 48 घंटे पहले केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल  निर्वाचन भवन की ऑफिस क्यों गए थे? क्या कुछ खेला होने वाला है?‘ 

डाक्टर मनमोहन सिंह सटायर ने लिखा, ‘केंद्रीय पीयूष गोयल चुनाव आयोग के ऑफिस पहुंचे है। सवाल ये है कि जब 400 जीत रहें हैं तो चुनाव आयोग के पास क्यों गए हैं ?‘

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फैक्ट चेक

दावे की पड़ताल करने के लिए हमने मामले से संबंधित कीवर्ड का उपयोग करते हुए न्यूज़ रिपोर्ट सर्च की। इसके बाद हमें TV9 भारतवर्ष द्वारा 2 जून 2024 को प्रकाशित एक रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के अनुसार, ‘बीजेपी डेलिगेशन ने आज रविवार को चुनाव आयोग से मुलाकात की। इस डेलिगेशन में पीयूष गोयल भी शामिल थे। उन्होंने बताया कि बीजेपी ने चार मुद्दों पर अपनी बात रखी। इससे पहले वोटों की गिनती को लेकर इंडिया गठबंधन का एक प्रतिनिधिमंडल भी चुनाव आयोग से मिल चुका है। बीजेपी की ओर से पीयूष गोयल और कई अन्य नेताओं ने चुनाव आयोग से मुलाकात कर कई मुद्दों पर अपनी बात रखी। उन्होंने आयोग से आग्रह किया कि चुनाव से जुड़े सभी लोग चुनाव के प्रोटोकॉल का पालन करें। उन्होंने सुरक्षा को लेकर भी कड़े कदम उठाने की बात कही और चुनाव प्रक्रिया पर सवाल उठाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। चुनाव आयोग से शिकायत करते हुए उन्होंने कहा कि एक पैटर्न के तहत भारत की संस्थाओं के खिलाफ मुहिम चलाई जा रही है।‘

इसके अतिरिक्त हमें ANI Hindi द्वारा X पर साझा किया गया एक वीडियो मिला, जिसमें केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल चुनाव आयोग से मिलने के बाद अपना बयान देते नजर आ रहे हैं। पीयूष गोयल ने कहा, ‘आज केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के नेतृत्व में बीजेपी के एक प्रतिनिधिमंडल ने मुख्य चुनाव आयुक्त और चुनाव आयुक्तों से मुलाकात कर 4 अहम कदम उठाने की मांग और आग्रह किया। पहला यह कि हमने चुनाव आयोग से अनुरोध किया है कि मतगणना प्रक्रिया में लगे प्रत्येक अधिकारी निर्धारित प्रक्रिया की छोटी से छोटी जानकारी से पूरी तरह परिचित हों और सभी ईसी प्रोटोकॉल के साथ लगन से लगे रहें।…दूसरा, मतगणना और परिणामों की घोषणा के दौरान चुनावी प्रक्रिया की सुरक्षा सुनिश्चित करना…तीसरा, चुनावी प्रक्रिया को कमजोर करने के व्यवस्थित प्रयासों का संज्ञान लेना और जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करना….’

पड़ताल में आगे हमें न्यूज़ 18 द्वारा प्रकाशित 2 जून 2024 की रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के मुताबिक 4 जून को होने वाली वोटों की गिनती को लेकर विपक्षी दलों का इंडिया गठबंधन के प्रतिनिधियों ने आज निर्वाचन आयोग से मुलाकात की। वरिष्ठ अधिवक्ता और कांग्रेसी नेता अभिषेक मनु सिंघवी की अगुवाई में इंडिया गठबंधन के कई नेताओं ने रविवार को चुनाव आयोग के साथ वोटों की गिनती को लेकर लंबी चर्चा की। यह तीसरी बार है जब कई दलों का गठबंधन चुनाव आयोग पहुंचा।

रिपोर्ट में आगे लिखा है कि इन नेताओं ने निर्वाचन आयोग से मांग की कि ईवीएम में वोटों की गिनती खत्म होने से पहले पोस्टल बैलट के वोटों की गिनती भी पूरी करनी चाहिए। क्योंकि पोस्टल बैलेट की प्रक्रिया चुनाव के परिणाम को एक तरफ से दूसरी तरफ ले जा सकती है। कांग्रेसी नेता ने कहा कि किसी भी चुनाव में पोस्टल बैलट निर्णायक होते हैं। चुनाव आयोग के नियम के मुताबिक पोस्टल बैलट की गिनती पहले की जाएगी। 2019 में स्पष्ट रूप से कहा कि पहले पोस्टल बैलेट की गिनती शुरू होगी और फिर ईवीएम की। लेकिन ईवीएम की गिनती खत्म नहीं हो सकती जब तक पोस्टल बैलट की गिनती पूरी न हो जाए।

ANI ने कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी का इस मामले पर दिया गया बयान साझा किया है। अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा, ‘बैलेट पेपर की गिनती पहले करने और उनके परिणामों की घोषणा पहले करने का महत्वपूर्ण महत्व है। यह बात कानूनी नियम में स्पष्ट रूप से कही गई है… चुनाव आयोग ने वर्षों से इस बात को समझा है… हमारी शिकायत यह है कि 2019 के इस कानूनी नियम को नजरअंदाज कर दिया गया है। चुनाव आयोग ने 2019 की इस प्रथा को समाप्त कर दिया है। इसका परिणाम यह है कि ईवीएम की गिनती की जा सकती है और यदि ईवीएम की गिनती बैलेट पेपर की गिनती से पहले पूरी हो जाती है, तो इसे पूरा माना जाएगा। दूसरे शब्दों में, बैलेट पेपर की गिनती और परिणाम पहले घोषित करने की आवश्यकता नहीं है… यही हमारी मुख्य शिकायत है… उन्होंने हमारी बात धैर्यपूर्वक सुनी और हम मजबूत कार्रवाई की प्रतीक्षा कर रहे हैं।’

निष्कर्ष: पड़ताल से स्पष्ट है कि केवल भारतीय जनता पार्टी के नेता ही नहीं बल्कि कांग्रेस और इंडिया गठबंधन के नेता भी चुनाव आयोग से मिलने गए थे। दोनों पक्षों ने अपनी मांगें और चिंताएं आयोग के सामने रखीं। चुनाव आयोग से मिलना एक सामान्य प्रक्रिया का हिस्सा था।

दावाबीजेपी नेता पीयूष गोयल और निर्मला सीतारमण ने चुनाव आयोग पर दबाव बनाने के लिए मिलने गए थे
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